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CM Yogi Adityanath launches 274 development projects worth Rs 810 crore in Hapur

Lucknow | Firing yet another salvo at the previous governments for neglecting Hapur’s development, Uttar Pradesh Chief Minister Yogi Adityanath, on Friday, said that despite being in existence for years, Hapur longed for its own proper hospital and other basic facilities.

“We rid the region of lawlessness, anarchy, hooliganism and paved the way for development,” he said.

Dedicating as many as 274 developmental projects worth Rs 810 crores in Hapur, the CM said, “Hapur showed its faith in the BJP in the assembly elections which testifies the development-oriented thinking of the government. Despite being in existence for 11 long years, Hapur was deprived of its own proper hospital. Our government will give pace to the development of the region and the launch of various projects today marks the beginning of Hapur’s development journey.”

Hapur deprived of development, proper medical facilities under previous govts’ : CM

Speaking on the occasion, Yogi Adityanath said, “all the public representatives of Hapur have been assured of no dearth of funds to ensure that development projects are completed on time to benefit the people. An Integrated ‘Kachhari’ is underway which will serve as one platform for all district-level offices for the convenience of the people. This will give a new dimension to the process of development.”

Comparing the law and order situation in the state with the previous governments, the CM said that today, Kanwar Yatras are being taken out successfully and peacefully, there are no more riots and no place for hooliganism. Daughters can now go to school and women can go to market safely.

Playing with future of Youth is a ‘National Crime’: Yogi attacks drug smugglers

“Our government has a policy of zero tolerance in crimes against women and if any person dares compromising it, he will be made to pay in the same manner,” warned Yogi.

The CM went on to say that due to the development-oriented approach of the BJP government, the distance from Delhi to Hapur and Meerut has now reduced. Ganga Expressway will also run between Hapur and Meerut, which will cover the distance of Prayagraj in 6 hours.

Our Govt established rule of law, ensured safety of women & daughters, says CM

“Projects like Film City, Medical Device Park in nearby regions and upcoming Sports University in Meerut will generate numerous employment opportunities for the youth,” said Yogi.

Declaring that Uttar Pradesh’s Covid-19 management fared well in comparison to many other states and countries, the CM said, “Under PM Modi’s leadership the most populous state contained the pandemic efficiently. People are being provided free vaccines, free testing facilities and free treatment along with free double-dose of foodgrains.”

Highlighting his government’s achievements, the Chief Minister said that in the last five years despite the Covid-19 pandemic, 5 lakh youth has been given government jobs in the state, while about 1.61 crore youths were given job opportunities through various MSME units, industrial sectors, among others. Similarly, about 60 lakh craftsmen, and artisans were also connected with banks in a way to ensure their self-employment.

Govt determined to ensure bright future of youth, promoting sports culture & education: Yogi

Affirming his government’s commitment to ensuring a bright future for the youth, the CM said that his government is promoting sports, making playgrounds in every village, building world-class educational institutions, and efforts are being made towards technological up-gradation of youth by distributing 2 crore tablets and smartphones.

“We have to collectively fight against illicit liquor and drugs trade and treat the illicit liquor and drug smugglers as ones committing national crime as playing with the future of youth is equivalent to committing a national crime,” asserted Yogi.

Furthermore, Yogi added that the government is taking forward the programme of skill mapping of every household to provide employment to at least one youth of every family in the state.

“Before five years, the government discriminated in giving benefits, there was no electricity, no safety, there was chaos, and hooliganism was at its peak. Development works were stalled, however, today, festivals are being conducted peacefully and development is at its peak,” concluded Yogi.

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Bihar:सीएम ने मुजफ्फरपुर में की समीक्षा बैठक, करोड़ों की विकास परियोजनाओं का किया शिलान्यास

सीएम नीतीश आज प्रगति यात्रा के दूसरे चरण के तहत मुजफ्फरपुर के दौरे पर थे. यहां उन्होंने जिलेवासियों को 500 करोड़ की परियोजनाओं की सौगात दी. सुबह 10:40 बजे वह सड़क मार्ग से पहले रामदयालुनगर पहुंचे. वहां उन्होंने मुजफ्फरपुर-बरौनी फोरलेन का स्थल निरीक्षण करने के बाद दिघरा रामपुर साह में प्रस्तावित रिंग रोड का निरीक्षण किया. इसके बाद सीएम मुशहरी प्रखंड के नरौली पहुंचे. यहां सीएम ने 30 करोड़ की लागत से बने आश्रय स्थल का उद्घाटन किया. साथ ही बिंदा में मॉडल पंचायत सरकार भवन, जीविका भवन, मनरेगा पार्क और हेल्थ वेलनेस सेंटर का मुआयना किया. प्रगति यात्रा के दौरान सीएम ने जिले के एमआइटी के पास 2000 सीटिंग क्षमता वाले ऑडिटोरियम, गायघाट प्रखंड के मधुरपट्टी घाट पर आरसीसी पुल, बंदरा प्रखंड के रतवारा ढोली घाट और मीनापुर के चांदपरना घाट पर आरसीसी पुल, शहर के बूढ़ी गंडक नदी पर दो पुल व पहुंच पथ के 6958.35 लाख की योजना का कार्यारंभ व अन्य योजनाओं का शिलान्यास किया. योजनाओं की लिस्ट में ये भी शामिल वहीं नरौली में सीएम ने वृहत आश्रय गृह समेत समाज कल्याण की 2971.37 लाख, श्रम संसाधन की 277.02 लाख, खेल विकास की 194.50 लाख, पशु व मत्स्य संसाधन की 107.69 लाख, स्वास्थ्य की 1179 लाख, नरौली पंचायत सरकार भवन का 128 लाख, मद्य निषेध व उत्पाद विभाग की 1494.80 लाख, ब्रेडा की 8.25 लाख, शिक्षा की 2924.03 लाख व ग्रामीण विकास के मनरेगा की 112.23 लाख, स्वास्थ्य विभाग के 1733.36 लाख, अल्पसंख्यक कल्याण विभाग के 6361.85 लाख, पशु एवं मत्स्य संसाधन विभाग के 107.69 लाख योजना व विकास विभाग के 2879.58 लाख, अनुसूचित जाति जनजाति कल्याण विभाग के 4607.97 लाख, जल संसाधन विभाग के 8102 लाख तथा कला संस्कृति विभाग के 45 करोड़ की योजनाओं का शिलान्यास किया. अधिकारियों संग की समीक्षा बैठक अंत में सीएम नीतीश ने समाहरणालय में अधिकारियों के साथ समीक्षा बैठक की. जिले में चल रही विकास कार्यों का जायजा लिया और करीब 3 बजे वे वापस पटना के लिए रवाना हो गए. सीएम का यह कार्यक्रम प्रगति यात्रा के पहले चरण के तहत ही होना था, लेकिन पूर्व प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह के निधन की वजह से कार्यक्रम रद्द कर दिया गया था. दूसरे चरण के पहले दिन शनिवार को सीएम नीतीश ने गोपालगंज का दौरा किया. यहां उन्होंने 139 करोड़ की परियोजनाओं का शिलान्यास किया. आगामी विधानसभा चुनाव को देखते हुए सीएम की यह यात्रा अहम मानी जा रही है.

MP-गुरू गोबिंद सिंह जी की जीवन यात्रा सभी के लिए प्रेरणादायी : मुख्यमंत्री

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा है कि गुरू गोबिंद सिंह ने देश और धर्म के गौरव की रक्षा तथा मूल धर्म की स्थापना के लिए अपने चार साहिबजादों और परिवार का जो बलिदान दिया उसके लिए संपूर्ण राष्ट्र नतमस्तक है। देश के स्वाभिमान और संस्कृति को विदेशी आक्रांताओं के खिलाफ अपने परिवार को कुर्बान कर देने वाली गुरू जी की जीवन यात्रा सभी के लिए प्रेरणादायी है। गुरू गोबिंद सिंह ने खालसा पंथ की स्थापना कर यह बताया कि देश और संस्कृति के लिए हथियार उठाकर बहादुरी के साथ लड़ना जरूरी है। धर्म, संस्कृति और इतिहास को बचाने का उनका प्रयास सम्पूर्ण विश्व के सामने एक प्रभावी, अतुलनीय और अद्भुत उदाहरण है। हर युग और हर काल में उनकी शहादत याद रखी जाएगी। मुख्यमंत्री डॉ. यादव सिखों के 10वें गुरू खालसा पंथ के संस्थापक गुरू गोबिंद सिंह जी के प्रकाश पर्व पर गुरूद्वारा हमीदिया रोड में मत्था टेकने के बाद उपस्थित श्रद्धालुओं को संबोधित कर रहे थे। सभी गुरूओं के वचनों को एकत्र कर गुरू ग्रंथ साहब को प्रदान किया मार्गदर्शक का स्वरूप मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि गुरू गोबिंद सिंह इस रूप में भी भाग्यशाली थे कि उनके परिवार के छोटे से छोटे बच्चे में भी देश, धर्म व संस्कृति के लिए गौरव की अनुभूति थी और वह अपने धर्म और जीवन मूल्यों के लिए बलिदान देने के लिए तत्पर था। गुरू गोबिंद सिंह ने कई आध्यात्मिक प्रश्नों के उत्तर खोजने का प्रयास किया। उन्होंने सभी गुरूओं के पवित्र वचनों को एकत्र करते हुए गुरू ग्रंथ साहब को पंथ के मार्गदर्शक का स्वरूप प्रदान किया। गुरू तेगबहादुर जी के शहीदी पर्व सहित अन्य आयोजनों में राज्य शासन हरसंभव प्रदान करेगी सहयोग मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि साहिबजादों के बलिदान को शालेय पाठ्यक्रम में शामिल किया जाएगा। प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने वीर बालकों की शहादत के दिन, वीर बाल दिवस मनाने का निर्णय लिया। साथ ही ननकानासाहिब कॉरीडोर सहित अनेकों सौगातें समाज को प्रदान की हैं। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने कहा कि गुरू तेगबहादुर जी के 350वें शहीदी पर्व सहित अन्य आयोजनों में राज्य शासन की ओर से हरसंभव सहयोग प्रदान किया जाएगा। मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने वीर बाल दिवस पर गुरूद्वारे की व्यवस्था संभालने वाले बच्चों का किया सम्मान मुख्यमंत्री डॉ. यादव ने वीर बाल दिवस 26 दिसम्बर के मौके पर गुरूद्वारा हमीदिया रोड की व्यवस्थाओं को संभालने वाले बच्चों का सम्मान किया। मुख्यमंत्री डॉ. यादव का स्मृति-चिन्ह भेंटकर अभिवादन किया गया। उन्होंने गुरूद्वारे में सेवा भी की और उपस्थित जनसमुदाय का अभिवादन किया। इस अवसर पर सुश्री नेहा बग्गा का सम्मान भी किया गया।

CG:पत्रकार मुकेश चंद्रकार की हत्या के मामले की जांच के लिए SIT गठित

रायपुर पुलिस महानिरीक्षक बस्तर रेंज सुंदरराज पी द्वारा पत्रकार मुकेश चंद्रकार की हत्या के मामले की विवेचना के लिए आईपीएस मयंक गुर्जर अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक बीजापुर के नेतृत्व में 11 सदस्यीय एसआईटी का गठन किया गया है। गौरतलब है कि पत्रकार मुकेश चंद्रकार की हत्या के मामले में बीजापुर थाना में अपराध पंजीबद्ध किया गया है। एसआईटी (विशेष अनुसंधान टीम) में आईपीएस मयंक गुर्जर अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक बीजापुर, सुरूचि वर्मा उप पुलिस अधीक्षक दंतेवाड़ा, शरद जायसवाल उप पुलिस अधीक्षक बीजापुर, सुगीतिका साहू उप पुलिस अधीक्षक बस्तर, दुर्गेश शर्मा निरीक्षक थाना प्रभारी बीजापुर, वीरेंद्र श्रीवास्तव निरीक्षक प्रभारी जिला विशेष शाखा बीजापुर, चन्द्रशेखर श्रीवास निरीक्षक प्रभारी फरसापाल जिला दंतेवाड़ा, रिजवान अहमद निरीक्षक रक्षित केंद्र बीजापुर, गौरव तिवारी निरीक्षक रेंज साइबर थाना जगदलपुर, मुकेश पटेल उप निरीक्षक थाना बीजापुर तथा विवेकानंद पटेल प्रभारी साइबर सेल बीजापुर को शामिल किया गया है। एसआईटी को उक्त प्रकरण की गहन जांच करने तथा प्रकरण की जांच कार्यवाही के सम्बन्ध में पुलिस अधीक्षक बीजापुर को प्रतिदिन प्रगति प्रतिवेदन अनिवार्यतः पुलिस महानिरीक्षक बस्तर रेंज कार्यालय को प्रेषित करने के निर्देश दिए हैं।

CG:पत्रकार मुकेश चंद्राकर हत्याकांड,दोषियों को बख्शा नही जाएगा- मुख्यमंत्री साय

रायपुर, मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने  बीजापुर के पत्रकार मुकेश चंद्राकर की नृशंस हत्या की घटना की कड़ी निंदा करते हुए कहा कि इस हत्याकांड में शामिल किसी भी व्यक्ति को बख्शा नहीं जाएगा। मुख्यमंत्री साय ने इस मामले की गंभीरता को देखते हुए अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक आईपीएस मयंक गुर्जर के नेतृत्व में 11 सदस्यीय विशेष जांच दल (SIT) का गठन किया है। फारेंसिक टीम साइंटिफिक और तकनीकी साक्ष्यों के आधार पर घटना की जांच कर रही है। अब तक तीन आरोपियों को गिरफ्तार किया गया है और उनके द्वारा किए गए अवैध निर्माण को ध्वस्त कर दिया गया है। मुख्यमंत्री साय ने कहा कि इस प्रकार की घटना की पुनरावृत्ति न हो, इसके लिए आरोपियों को कड़ी से कड़ी सजा दिलाने के निर्देश दिए गए हैं। हमारी सरकार अपराधियों के खिलाफ सख्त रुख अपनाएगी और पत्रकारों की सुरक्षा सुनिश्चित करेगी। मुख्यमंत्री साय ने कहा कि प्रदेश में कानून व्यवस्था को बनाए रखना सरकार की सर्वोच्च प्राथमिकता है। पत्रकारिता को लोकतंत्र का चौथा स्तंभ बताते हुए मुख्यमंत्री साय ने कहा कि पत्रकारों की स्वतंत्रता और उनकी सुरक्षा सुनिश्चित करना सरकार का दायित्व है।

UP: पशुपालन से जुड़ी महिलाओं पर बरसेगी ‘बाबा गोरखनाथ’ की ‘कृपा’

गोरखपुर। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के दिशानिर्देश पर राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन की एक खास पहल ने गोरखपुर मंडल में नारी स्वावलंबन का नया दौर शुरू किया है। इस पहल का संवाहक बनी है महिलाओं द्वारा और महिलाओं के लिए ही बनी श्री बाबा गोरखनाथ कृपा मिल्क प्रोड्यूसर कंपनी। इस कंपनी का गठन दूध उत्पादन, संकलन के क्षेत्र में नजीर बनी बुंदेलखंड की बलिनी मिल्क प्रोड्यूसर कंपनी की तर्ज पर किया गया है। दो साल पहले गठित और सालभर से क्रियाशील श्री बाबा गोरखनाथ कृपा मिल्क प्रोड्यूसर कंपनी में मंडल के 400 गांवों की 14000 से अधिक पशुपालक महिलाएं सदस्य (शेयरहोल्डर) बन चुकी हैं। इन महिला सदस्यों के जरिये प्रतिदिन 48000 लीटर दूध का संग्रह कर आत्मनिर्भरता की कहानी रची जा रही है। सीएम योगी की मंशा के अनुरूप बन रही कार्ययोजना से अगले दो साल में महिलाओं की यह मिल्क प्रोड्यूसर कंपनी प्रतिदिन 300000 लीटर दूध का संग्रह करने में सक्षम हो जाएगी। यूपी में महिलाओं द्वारा संचालित मिल्क प्रोड्यूसर कंपनी का उत्कृष्ट मॉडल बुंदेलखंड की बलिनी मिल्क प्रोड्यूसर कंपनी है। 2019 में सिर्फ पांच महिलाओं द्वारा शुरू किए गए इस कंपनी में वर्तमान में 71000 महिलाएं शेयरहोल्डर हैं। बलिनी के जरिये प्रतिदिन 250000 लीटर दूध का संग्रहण होता है। इस कंपनी ने 1225 करोड़ रुपये का टर्नओवर करके 24 करोड़ रुपये का शुद्ध लाभ कमाया है। बलिनी में महिलाओं की सफल भागीदारी देखकर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन के महिला समर्थ योजना के अंतर्गत प्रदेश में पांच मिल्क प्रोड्यूसर कंपनी बनाने के निर्देश दिए थे। इनमें से एक कंपनी श्री बाबा गोरखनाथ कृपा मिल्क प्रोड्यूसर कंपनी का गठन 2022 में गोरखपुर में किया गया है। इस कंपनी का कार्यक्षेत्र मंडल के चार जिलों गोरखपुर, महराजगंज, देवरिया और कुशीनगर है। इस मिल्क प्रोड्यूसर कंपनी ने विगत एक साल से कार्य करना शुरू किया है और इस कम अवधि में ही चारों जिलों में 400 गांवों की 14000 से अधिक महिलाएं शेयरहोल्डर बनकर प्रतिदिन 48000 लीटर दूध का संग्रह कर रही हैं। इस कंपनी ने गोरखपुर के कैम्पियरगंज, खजनी, बड़हलगंज, देवरिया के रुद्रपुर, पथरदेवा, भाटपार और कुशीनगर के कसया में दूध अवशीतन केंद्रों (मिल्क चिलिंग सेंटर्स) भी खोल दिया है जहां गांवों में सदस्य महिलाओं द्वारा संग्रहित दूध को प्रोसेस किया जा रहा है। श्री बाबा गोरखनाथ कृपा मिल्क प्रोड्यूसर कंपनी और इसके सात मिल्क चिलिंग सेंटर्स का औपचारिक लोकार्पण मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने विगत दिनों गोरखपुर में ग्रामीण आजीविका मिशन के एक खास समारोह में किया था। श्री बाबा गोरखनाथ कृपा मिल्क प्रोड्यूसर कंपनी के मुख्य कार्यपालक अधिकारी (सीईओ) धनराज साहनी बताते हैं कि अभी कंपनी की शेयरहोल्डर महिलाओं द्वारा संग्रहित दूध की आपूर्ति मदर डेयरी की इटावा और मोतिहारी प्लांट को किया जा रहा है। स्थानीय स्तर पर दूध की आपूर्ति के लिए गोरखपुर के गीडा में स्थापित पेप्सिको की फ्रेंचाइजी वरुण बेवरेजेज और ज्ञान डेयरी से भी बातचीत चल रही है। दूध संग्रह बढ़ने के साथ यह बातचीत भी फलदायी हो जाने की उम्मीद है। सीईओ के मुताबिक मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अधिक से अधिक पशुपालक महिलाओं को शेयरहोल्डर बनाने और दूध संग्रह बढ़ाने के निर्देश दिए हैं। इसके लिए राज्य ग्रामीण आजीविका मिशन के अधिकारियों की मदद ली जा रही है। पूरी उम्मीद है कि मार्च 2025 तक शेयरहोल्डर की संख्या मंडल के पांच सौ गांवों में कम से कम 20000 तथा प्रतिदिन दूध संग्रह 70000 लीटर हो जाएगी। कंपनी ऐसी कार्ययोजना पर काम कर रही है जिससे अगले दो साल में दूध संग्रह प्रतिदिन 300000 लीटर हो जाए। कंपनी को अपना काम आगे बढ़ाने में नेशनल डेयरी डेवलपमेंट बोर्ड का भी सहयोग मिल रहा है। आत्मनिर्भर हो रहीं महिलाएं, सालभर में 431 बन गईं लखपति दीदी श्री बाबा गोरखनाथ कृपा मिल्क प्रोड्यूसर कंपनी की शेयरहोल्डर बनकर पशुपालक ग्रामीण महिलाएं आत्मनिर्भरता की राह पर आगे बढ़ चुकी हैं। दूध उत्पादन और संग्रह के कार्य से जुड़कर वे आय अर्जित कर पारिवारिक आमदनी में इजाफा करने में सक्षम हो रही हैं। इस कंपनी के सीईओ धनराज साहनी बताते हैं कि सालभर में ही कंपनी की 431 शेयरहोल्डर महिलाएं लखपति दीदी बन चुकी हैं। इन सभी ने एक लाख से अधिक का आय अर्जित किया है। दो महिलाएं तो ऐसी भी हैं जिन्होंने सालभर में 12 लाख की आय अर्जित की है। ऐसे सदस्य बन सकती हैं महिलाएं जिस गांव में श्री बाबा गोरखनाथ कृपा मिल्क प्रोड्यूसर कंपनी का दूध संकलन केंद्र हो या शुरू किया जा रहा है वहां की पशुपालक महिलाएं इस कंपनी की सदस्य (शेयरहोल्डर) बन सकती हैं। एक परिवार से एक ही महिला शेयरहोल्डर होगी। महिला को आवेदन के साथ 50 रुपये प्रवेश शुल्क जमा करना होगा और 100 रुपये प्रति शेयर की दर से कम से कम 5 शेयर लेने होंगे। इसमें से एक शेयर की कीमत आवेदन के साथ जमा करना होगा, बाकी के चार शेयर की कीमत का भुगतान उनके द्वारा दिए गए दूध के बिल की अदायगी से किया जाता है। यदि कोई महिला सदस्यता त्यागती है तो उसके द्वारा कंपनी में लगाई गई शेयर पूंजी उसके बैंक खाते में वापस दे दी जाएगी। हर सदस्य को एक वर्ष में कम से कम 200 दिन और कम से कम 500 लीटर दूध की आपूर्ति करनी होगी। सीधे बैंक खाते में मिलता है भुगतान श्री बाबा गोरखनाथ कृपा मिल्क प्रोड्यूसर कंपनी की शेयरहोल्डर महिलाओं को भुगतान सीधे उनके बैंक खातों में मिलता है। मिल्क चिलिंग सेंटर में दूध जमा करने पर उन्हें एक पर्ची मिलती है। हर दस दिन के बाद पर्ची पर दर्ज दूध और कीमत के विवरण के अनुसार भुगतान किया जाता है। दूध की कीमत बाजार में प्रचलित मूल्य के बराबर होता है। भुगतान के लिए हर माह की 3, 13 और 23 तारीख निर्धारित है। सदस्य महिलाओं को कंपनी के लाभ का अंश भी प्राप्त होगा। शेयरहोल्डर को मिलेंगी ये भी सुविधाएं मिल्क प्रोड्यूसर कंपनी की महिला शेयरहोल्डर को कंपनी की तरफ से पशु आहार और खनिज मिश्रण, पशुओं के थनैला रोग जांच, पशुओं के कृत्रिम गर्भाधान पंजीकरण की भी सुविधाएं मिलेंगी। इसके अलावा उन्हें पशुओं का स्वास्थ्य बेहतर करने और अधिक दूध उत्पादन से जुड़ी जानकारियां भी उपलब्ध कराई जाएंगी।

UP- छह से 10 जनवरी तक स्कूलों-कॉलेजों में चलाएं सड़क सुरक्षा जागरूकता कार्यक्रम: मुख्यमंत्री

लखनऊ : मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने नव वर्ष के पहले दिन बुधवार को उप्र राज्य सड़क सुरक्षा परिषद की बैठक ली। उन्होंने सभी विभागों को सड़क सुरक्षा से संबंधित आवश्यक निर्देश दिए। मुख्यमंत्री जी ने कहा कि जनपदीय सड़क सुरक्षा समिति जिलाधिकारी की अध्यक्षता में 5 जनवरी तक हर हाल में बैठक संपन्न कर लें। छह से 10 जनवरी तक सभी स्कूलों-कॉलेजों में सड़क सुरक्षा नियमों से संबंधित जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किए जाएं। मुख्यमंत्री जी ने यह भी निर्देश दिए कि महाकुम्भ में बेहतर यातायात व्यवस्था के लिए पीआरडी व होमगार्डों की संख्या बढ़ाई जाए। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि सड़क दुर्घटनाओं में हर वर्ष हो रही 23-25 हजार मौतें देश व राज्य की क्षति है। यह दुर्घटनाएं जागरूकता के अभाव में होती हैं। सड़क सुरक्षा माह सिर्फ लखनऊ तक सीमित न रहे, बल्कि इसे प्रदेश के सभी 75 जनपदों में सुचारू रूप से संपन्न कराया जाए। उन्होंने कहा कि इसके अतिरिक्त भी हर माह जनपदों में जिलाधिकारी की अध्यक्षता में सड़क सुरक्षा की बैठक हो, जिसमें पुलिस अधीक्षक/वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक, नगर आयुक्त, आरटीओ, पीडब्ल्यूडी के अधिकारी, जिला विद्यालय निरीक्षक, बेसिक शिक्षा अधिकारी, मुख्य चिकित्सा अधिकारी आदि उपस्थित रहें। जनपद स्तर पर हुए कार्यों की प्रोग्रेस को लेकर हर तीसरे महीने शासन स्तर पर मूल्यांकन किया जाए। मुख्यमंत्री जी ने कहा कि उन जनपदों व स्थलों को चिह्नित करें, जहां अधिक दुर्घटनाएं संभावित हैं। इसके लिए कारणों का पता करते हुए इसके समाधान की कार्ययोजना बनाई जाए। नाबालिग ई-रिक्शा व अन्य वाहनों का संचालन न कर पाएं, इस पर विशेष ध्यान देने की आवश्यकता है। ई-रिक्शा के रजिस्ट्रेशन की कार्रवाई सुचारू रूप से की जाए। मुख्यमंत्री जी ने कहा कि सड़कों पर अनिवार्य रूप से साइनेज लगाए जाएं, जिससे लोगों को आवागमन में भी सहूलियत हो सके। उन्होंने कहा कि ओवरलोडिंग कतई बर्दाश्त नहीं है। इसे स्टॉर्टिंग पॉइंट पर ही रोका जाए। एक्सप्रेस व हाइवे पर लोडेड वाहन भी खड़े रहते हैं, जो दुर्घटना का कारण बनते हैं। इन वाहनों को क्रेन के माध्यम से हटवाया जाए। हेलमेट, सीट बेल्ट तथा सड़क सुरक्षा के अन्य मानकों को अपनाने के लिए जागरूकता कार्यक्रम चलाकर प्रेरित किया जाए। मुख्यमंत्री जी ने कहा कि किसी वाहन का बार-बार चालान होने पर लाइसेंस/परमिट निरस्तीकरण आदि की कार्रवाई की जानी चाहिए। इस कार्रवाई को अनिवार्य रूप से फॉस्टैग से जोड़ा जाए। सूचना, परिवहन व सड़क सुरक्षा से जुड़े विभागों की तरफ से अपील करने वाली होर्डिंग लगाई जाए। इसे सभी 75 जनपदों, 350 तहसीलों, 1500 थानों व सभी नगर निकायों के बाहर भी लगाया जाए। राहगीरों/आमजन को जागरूक किया जाए कि दुर्घटना को देखकर भागें नहीं, बल्कि घायलों को गोल्डेन ऑवर के अंदर समीप के हॉस्पिटल या ट्रॉमा सेंटर में पहुंचाएं। एंबुलेंस का रिस्पॉन्स टाइम न्यूनतम करें। मुख्यमंत्री जी ने कहा कि स्कूलों-कॉलेजों में रोड सेफ्टी क्लब की तर्ज पर प्रत्येक जनपद में रोड सेफ्टी पार्क बनाए जाएं। रोड सेफ्टी अवेयरनेस कार्यक्रमों से स्कूली बच्चों को जोड़ते हुए यातायात नियम से जुड़े विषयों पर नाटक, संगीत, कविता, निबंध, संगोष्ठी, भाषण, सामान्य ज्ञान प्रतियोगिताएं कराई जाएं। मुख्यमंत्री जी ने कहा कि परिवहन निगम के बसों के ड्राइवरों की नियमित स्वास्थ्य जांच अनिवार्य रूप से कराई जाए। बसों की फिटनेस का भी ध्यान रखा जाए। हर निकायों में वेंडिंग जोन बनाकर रेहड़ी-पटरी वालों को स्थापित किया जाए। सड़कों पर कहीं भी अवैध स्टैंड न लगे, उनके लिए स्पेस बनाया जाए। ध्वनि प्रदूषण पर रोक लगाने के लिए बाइकों में से मोडिफाई साइलेंसर व हॉर्न को प्रतिबंधित किया जाए। अवैध रूप से बसों का संचालन दुर्घटना का कारण बनता है। गैर अनुबंधित बसों का पंजीकरण कर उन्हें निर्धारित रूट प्रदान किया जाए। इससे कनेक्टिविटी बेहतर होगी, साथ ही आमजन को भी सुविधा मिलेगी। बैठक में उप मुख्यमंत्री ब्रजेश पाठक, नगर विकास मंत्री एके शर्मा, परिवहन मंत्री दयाशंकर सिंह, बेसिक शिक्षा मंत्री (स्वतंत्र प्रभार) संदीप सिंह समेत विभिन्न विभागों के आलाधिकारी मौजूद रहे।